यूपी में 3 बजे तक 49% वोटिंग: औरैया में पोल अफसर का शव मिला, हिजाब हटवाने पर विवाद

Feb 20 2022

यूपी में 3 बजे तक 49% वोटिंग: औरैया में पोल अफसर का शव मिला, हिजाब हटवाने पर विवाद
Akhilesh Yadav and Dimple Yadav

india emotions, लखनऊ। उत्तर प्रदेश में 16 जिलों की 59 सीटों पर तीसरे चरण के वोटिंग चल रही हैं। दोपहर 3 बजे तक 49 प्रतिशत वोट डाले गए हैं। शुरुआती दौल में वोटर्स का जोश बढ़ कर देखा गया। बुजुर्ग और दिव्यांग भी अपने वोट के अधिकार का इस्तेमाल करने पोलिंग बूथ पर पहुंचे। दुल्हनें भी बूथ पर दिखीं, जो विदा होने से पहले वोट डालने आईं। मुलायम सिंह व्हील चेयर पर वोट डालने आए। मुलायम के भाई 78 साल के अभय राम बाइक से वोट डालने पहुंचे। अखिलेश और डिंपल ने पूरी फैमिली के साथ सैफई में पोलिंग बूथ पर पहुंच कर वोट डाले।

प्रदेश के तीसरे चरण की इन पोलिंग बूथों पर वोटिंग जारी है।हाथरस, सादाबाद, सिकंदरा राऊ, टूंडला, जसराना, फिरोजाबाद, शिकोहाबाद, सिरसागंज, कासगंज, अमांपुर, पटियाली, अलीगंज, एटा, मारहरा, जलेसर, मैनपुरी, भोगांव, किशनी, करहल, कायमगंज, अमृतपुर, फर्रुखाबाद, भोजपुर, छिबरामऊ, तिर्वा, कन्नौज, जसवंतनगर, इटावा, भरथना, बिधूना, दिबियापुर, औरैया, रसूलाबाद, अकबरपुर-रनिया, सिकंदरा, भोगनीपुर, बिल्हौर, बिठूर, कल्याणपुर, गोविंदनगर, सीसामऊ, आर्यनगर, किदवई नगर, कानपुर कैंटोनमेंट, महराजपुर, घाटमपुर, माधौगढ़, कालपी, उरई, बबीना, झांसी नगर, मऊरानीपुर, गरौठा, ललितपुर, महरौनी, हमीरपुर, राठ, महोबा, चरखारी।

हिजाब को लेकर विवाद
कानपुर के ही हडसन मतदान केंद्र पर हिजाब को लेकर विवाद बढ़ गया। यहां हिजाब पहनकर आई मुस्लिम महिलाओं को बूथ में जाने से रोका जा रहा था। रावतपुर राम लला स्कूल में सपा प्रत्याशी सम्राट विकास के सामने भाजपा कार्यकर्ताओं ने जय श्रीराम के नारे लगाए। औरैया की दिबियापुर विधानसभा के हलौआ बूथ पर तैनात तृतीय मतदान अधिकारी दिनेश कुमार का संदिग्ध परिस्थिति में शव मिला। अजीतमल कोतवाली क्षेत्र की घटना है। प्रशासन अधिकारी घटना स्थल पर पहुंचे।

बूथ पर सपा एजेंट से मारपीट

औरैया में जौंरा पोलिंग बूथ पर सपा एजेंट अरविंद निषाद से मारपीट। भाजपा समर्थकों पर आरोप। कानपुर में सबसे ज्यादा भीड़ मुस्लिम बहुल इलाकों में देखने को मिल रही है। यहां जेके कॉलोनी बूथ में पुलिसवालों और भाजपा कार्यकर्ताओं के बीच झड़प भी हो गई।

बूथ एजेंट की मौत
इटावा सदर सीट पर कोकपुराशाला पर बूथ एजेंट कृष्णकांत तिवारी की दिल का दौरा पड़ने से मौत हो गई। कानपुर की मेयर प्रमिला पांडे पर वोटिंग के दौरान पोलिंग बूथ से अपनी फोटो सोशल मीडिया पर शेयर करने के लिए एफआईआर दर्ज की गई है।फर्रुखाबाद में 198 बूथ संख्या में एक घंटे से ईवीएम मशीन खराब होने के चलते एक घंटे देरी से शुरू हुआ मतदान। कन्नौज में भी आधे घंटे देरी।सपा ने शिकायत की है कि कानपुर देहात में साइकिल का बटन दबाने पर कमल की पर्ची निकल रही है।

ईवीएम खराब होने की वजह से वोटिंग देरी से
वहीं कुछ जगहों पर ईवीएम खराब होने की वजह से वोटिंग देरी से शुरू हुई। कुछ जगहों पर विकास के मुद्दे को लेकर लोगों ने वोटिंग का बायकॉट किया। महोबा, ललितपुर, हाथरस और टूंडला में लोगों ने विकास न होने पर वोटिंग का बायकॉट किया। हाथरस के नगला बिहारी में गांव वालों ने मतदान रोक दिया। यहां सुबह 10 बजे तक सिर्फ 4 लोगों ने वोट डाला था। ललितपुर के 5 गांवों में 12 बजे तक एक भी वोट नहीं पड़ा। गैंगस्टर विकास दुबे की वजह से देशभर में चर्चा में आए बिकरू गांव में सुबह से ही वोटर्स की कतारें लगी हैं। ज्यादातर लोगों का कहना है कि अब वोट डालने के दौरान भय का माहौल नहीं है। बिकरू में 2 जुलाई 2020 को विकास दुबे गैंग ने 8 पुलिसवालों की हत्या कर दी थी।
सैफई में वोट डालने जाते सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव और पत्नी डिंपल यादव। उनके साथ धर्मेंद्र यादव, अंशुल यादव और तेज प्रताप सिंह ने भी वोट डाला।

जिन 59 सीटों पर वोटिंग हो रही है, वो 16 जिलों में आती हैं।पश्चिमी यूपी के फिरोजाबाद, हाथरस, मैनपुरी, एटा व कासगंज की 19 विधानसभा सीटों पर चुनाव है।बुंदेलखंड के पांच जिलों झांसी, जालौन, ललितपुर, हमीरपुर और महोबा जिले की 13 विधानसभा सीटों पर वोटिंग हैं।अवध क्षेत्र के कानपुर, कानपुर देहात, औरैया, फर्रुखाबाद, कन्नौज और इटावा की 27 विधानसभा सीटों पर वोटिंग है।16 जिलों में 30 सीटें यादव और मुस्लिम बाहुल्य हैं। ऐसे में इसको सपा का मजबूत गढ़ कहा जाता है।2017 में मोदी लहर में भाजपा ने यहां जबरदस्त प्रदर्शन किया था। इन 59 में से 49 सीटों पर जीत दर्ज की थी। तब सपा के खाते में 8 और बसपा व कांग्रेस के खाते में 1-1 सीट गई थी।2017 में 59 में से 35 सीटें ऐसी थीं, जहां सपा दूसरे नंबर पर रही थी। अब थोड़ा पीछे यानी 2012 के चुनाव की बात करें तो सपा इन 59 सीटों में से 37 सीटें जीतकर सत्ता में पहुंची थी।

तीसरे चरण में हाथरस में भी वोटिंग है। यहां दलित युवती की बलात्कार के बाद हत्या और फिर जबरदस्ती अंधेरे में उसका अंतिम संस्कार कराने का मुद्दा है। सपा-कांग्रेस ने लगातार इस मुद्दे को लेकर योगी सरकार को घेरा है।कानपुर का बिकरू कांड भी इस बार मुद्दा है। विकास दुबे पुलिस एनकाउंटर और उसके एक सहयोगी अमर दुबे की पत्नी खुशी दुबे को जेल भेजा जाना यहां मुद्दा बना है। विपक्ष इसे ब्राह्मणों के साथ अन्याय बता रही है। बसपा और सपा ने इसको लेकर योगी सरकार को खूब घेरा है।जिन सीटों पर चुनाव है वहां ज्यादातर में यादव परिवार का हस्तक्षेप है। ऐसे में भाजपा ने सपा के खिलाफ जातिवाद और परिवारवाद के मुद्दे को धार दी। पीएम नरेंद्र मोदी, अमित शाह और योगी ने लगातार परिवारवाद के मुद्दे पर सपा को घेरा है।16 जिलों की यह बेल्ट खेती-किसानी की बेल्ट है। ऐसे में अखिलेश ने आवारा पशुओं से किसानों की फसल की बर्बादी को भी बड़ा मुद्दा बनाया है।

उत्तर प्रदेश चुनाव की सबसे हॉट सीट करहल
उत्तर प्रदेश चुनाव की सबसे हॉट सीट करहल हैं। यहां से समाजवादी पार्टी के मुखिया अखिलेश यादव चुनावी मैदान में हैं। अखिलेश को कड़ी टक्कर देने के लिए यहां से बीजेपी ने आगरा के सांसद और कैबिनेट मंत्री एसप. सिंह बघेल को मैदान में उतारा है। 1993 से लेकर अब तक सिर्फ यादव ही चुनाव जीतते आए हैं, पार्टी चाहे कोई भी रही हो। कहा जा रहा है, इस सीट पर गुरु के बेटे और शिष्य के बीच की लड़ाई है। दरअसल, एसपी सिंह बघेल मुलायम के राजनीतिक शिष्य हैं और अखिलेश बेटे।

बीते 5 विधानसभा चुनावों से इस सीट पर केवल समाजवादी पार्टी का कब्जा है। मुलायम सिंह यादव भी पहली बार इसी सीट को जीत कर विधायक बने थे। इस बार फिर अखिलेश के चाचा और प्रगतिशील समाजवादी पार्टी के मुखिया शिवपाल यादव चुनावी मैदान में हैं। भाजपा ने यहां से युवा नेता विनय शाक्य को मैदान में उतारा है। 32 साल के विनय जसवंतनगर क्षेत्र के चर्चित चेहते हैं। इनके पिता मनोज शाक्य भी जाने-माने समाजसेवी हैं।

दुनियाभर में इत्र नगरी के नाम से जानी जाने वाली कन्नौज वो सीट है, जहां से अखिलेश और डिंपल यादव ने अपने राजनीतिक करियर की शुरुआत की थी। इत्र व्यापारी के घर छापे के बाद से ये शहर लगातार चर्चा का विषय बना हुआ है। इस सीट में सपा और भाजपा में कड़ी टक्कर देखने को मिलेगी। यहां सपा के तीन बार विधायक रहे अनिल दोहरे चौथी बार चुनावी मैदान में हैं। वहीं भाजपा ने कानपुर के पूर्व पुलिस कमिश्नर असीम अरुण को मैदान में उतरा है। पिछले चुनाव में भाजपा प्रत्याशी बनवारी लाल केवल 2454 वोट से हार गए थे।

हाथरस में रामवीर VS गुड्डू चौधरी
बीजेपी और आरएलडी के बीच कड़ी टक्कर है। इस सीट पर 15 जनवरी को बसपा छोड़ भाजपा में आए रामवीर उपाध्याय चुनावी मैदान में हैं। उनको सपा के समर्थन वाले आरएलडी के प्रदीप चौधरी गुड्डू कड़ी टक्कर देते नजर आ रहे हैं। जहां एक ओर रामवीर बसपा के बड़े नेता और सरकार में पूर्व मंत्री रहे हैं। हाथरस जिले में 3 विधानसभा सीटें हैं, सभी सीटों से विधायक बन चुके हैं। वहीं गुड्डू भी यहां से जिला पंचायत सदस्य और चर्चित नाम हैं। उनको सीट की सबसे बड़ी जाट आबादी का समर्थन प्राप्त है।

सपा का मजबूत किला
सपा का मजबूत किला मानी जाती है। मोदी लहर में भी भाजपा इस सीट पर कब्ज़ा नहीं कर पाई। बीजेपी पिछले 20 साल से इस सीट में जीत का इंतजार कर रही है। सपा के टिकट पर 2012 से लगातार विधायक बन रहे हाजी इरफान सोलंकी फिर चुनावी मैदान में हैं। वहीं भाजपा ने प्रदेश उपाध्यक्ष और एमएलसी सलिल विश्नोई को मैदान में उतारा है। सलिल विश्नोई आर्यनगर और जनरलगंज से 3 बार के विधायक हैं।

तीसरे चरण में सपा पार्टी के 52 उम्मीदवारों की संपत्ति 1 करोड़ रुपये से अधिक है, जबकि भाजपा 48 उम्मीदवार ऐसे हैं। एडीआर की रिपोर्ट के अनुसार बसपा ने ऐसे 46 उम्मीदवार उतारे हैं, जबकि कांग्रेस ने 29 और आम आदमी पार्टी ने 18 करोड़पति को मैदान में उतारा है। 20 फरवरी को चुनाव लड़ने वाले 627 उम्मीदवारों में से 245 (39%) उम्मीदवार करोड़पति हैं।मैदान में सबसे अमीर उम्मीदवार सपा के यशपाल सिंह यादव हैं, जिनकी संपत्ति 70 करोड़ रुपए से अधिक है। वह झांसी की बबीना सीट से चुनाव लड़ रहे हैं। दूसरे कानपुर के किदवाई नगर सीट से चुनाव लड़ रहे कांग्रेस प्रत्याशी अजय कपूर के पास 69 करोड़ की संपत्ति है।