covid 19 और लॉकडाउन: IIA ने कठिन समय के प्रभावों से निपटने के लिए भारत सरकार को दिए सुझाव

Mar 27 2020

covid 19 और लॉकडाउन: IIA ने कठिन समय के प्रभावों से निपटने के लिए भारत सरकार को दिए सुझाव

india emotions news network, lucknow. इंडियन इंडस्ट्रीज एसोसिएशन (IIA) ने अपने 8000 से अधिक सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यमों (MSMEs) सदस्यों को सरकार के निर्देशों और प्रधानमंत्री की अपील का पालन करने के लिए सलाह जारी की है। इसके साथ साथएमएसएमई के लिए covid 19 और लॉकडाउन के कारण कठिन समय का एहसास करते हुए IIA ने सरकारी खजाने पर अधिक बोझ डाले बिना कुछ कदम उठाने के लिए विभिन्न केंद्र सरकार के मंत्रालयों को अपने सुझाव प्रस्तुत किए हैं।

सरकार के लिए अपने प्रत्यावेदन में, राष्ट्रीय अध्यक्ष आईआईए पंकज कुमार ने भारत में डैडम्े की वर्तमान स्थिति पर प्रकाश डाला और कहा कि 25 मार्च 2020 से देशव्यापी लॉकडाउन और उद्योगों को पूरी तरह से बंद करने के उपरान्त MSME को अपूरणीय क्षति होगी। प्रभावित एमएसएमई उत्पादन गतिविधियों को पूरा करने में असमर्थ होंगे और साथ ही कोई विद्युत शक्ति उपयोग नहीं होगा, फिर भीए सभी MSME को डिमांड/ फिक्स्ड चार्ज/ न्यूनतम शुल्क का भुगतान करना होगा, सभी श्रमिकों को मजदूरी का भुगतान करना होगा। और लॉकडाउन की अवधि के दौरान बैंक ऋण और ब्याज का भुगतान करने के साथ साथ अन्य सभी निश्चित लागतों को पूरा करना होगा ।

हालाँकि, सरकार ने 14 अप्रैल 2020 तक 21 दिनों की अवधि के लिए लॉकडाउन रखा है लेकिन ये स्थिति कब तक रहेगी ये निश्चित नहीं है । लंबे समय तक बंद रहने और सरकार के समर्थन के बिनाए इन MSME को सदमे से उबरने में बहुत मुश्किल हो सकती है। पंकज कुमार ने सरकार द्वारा सांविधिक अनुपालनए भुगतान और प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष करों के लिए रिटर्न भरने की तिथि को 30 जून 2020 तक बढाने सक्रिय कदम की प्रशंसा की।

अध्यक्ष इंडियन इंडस्ट्रीज एसोसिएशन ने हालांकि, विभिन्न केंद्र सरकार के मंत्रालय को MSME के लिए अधिक समर्थन के लिए कहा है जिसकी विवरण निम्न्न्लिखित है-
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केंद्रीय वित्त मंत्री श्रीमती निर्मला सीतारमण को प्रस्तुत सुझाव-
1- एमएसएमई के लिए बैंक ईएमआई और टीएल और सीसी पर ब्याज कोविद 19 के प्रभाव तक अथवा कम से कम छह महीने या उससे अधिक के लिए स्थगित किया जाना चाहिए।
2- MSME को बिना किसी अतिरिक्त शुल्क के छह महीने के लिए 30% तक अतिरिक्त कार्यशील पूंजी की अनुमति दी जानी चाहिए। हालांकि CGTMSE ऋण के मामले में यह 50% तक होना चाहिए।
3- महामारी के अभूतपूर्व प्रभाव को ध्यान में रखते हुए. कोई भी उद्यम जिसे एक आदतन अपराधी नहीं कहा जा सकता है, को एनपीए घोषित न किया जाए ।
4- आरबीआई को अगले छह महीनों के लिए क्रेडिट रेटिंग को स्थगित करने के लिए अनिवार्य निर्देश जारी करना चाहिए, ताकि एसएमई को कम ब्याज दरों पर वित्त मिल सके।
5- वेतन और सेवाओं के भुगतान के लिए टीडीएस को छह महीने के लिए स्थगित किया जाना चाहिए।
6- जीएसटी रिफंड को और तेज किया जाना चाहिए और डोकुमेंटेसन आवश्यकताओं को कम किया जाना चाहिए।
7- पहले रद्द किए गए जीएसटी पंजीकरण को 30 सितंबर 2020 तक बिना किसी ब्याज/विलंब शुल्क/ दंड के बहाली का समय दिया जाना चाहिए।
8- सरकार को कर अधिकारियों को व्यक्तिगत सुनवाई के निर्धारण पर अस्थायी रोक लगाने के निर्देश भी देने चाहिए।
9- अधिनिर्णय/अपीलीय अधिकारियों को एक्स पार्टी आदेश न जारी करने के निर्देश दिए जाने चाहिए।
10- एक्सपोर्ट ऑर्डर के खिलाफ विदेशी मुद्रा लोन में पैकिंग क्रेडिट निर्यात कों द्वारा बैंक के साथ अनुबंध के साथ प्रतिबद्ध अवधि में बी/एल के साथ दस्तावेजों को सौंपने के लिए लिया जा रहा है, लेकिन लॉक डाउन के कारण उद्योगों को बंद कर दिया जाता है और शिपमेंट समय से होना संभव नहीं है। इसलिए निर्यातक प्रतिबद्ध अवधि के भीतर दस्तावेजों को बैंक को सौंपने की स्थिति में नहीं हैं। ऐसी परिस्थितियों में बैंकों को निर्देश दिया जाना चाहिए कि वे निर्यातकों को उन मामलों में दबाव न डालें जब वे समय अवधि के भीतर दस्तावेजों को सौंपने में सक्षम नहीं हैं।
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केंद्रीय श्रम मंत्री संतोष कुमार गंगवार को प्रस्तुत सुझाव-
1- नियोक्ता द्वारा पीएफए ईएसआई और ग्रेच्युटी भुगतान के लिए 6 महीने तक छूट प्रदान की जाए
2- विभागों द्वारासमयबद्ध अनुपालन के लिए नोटिस जारी नहीं करना चाहिए।
3- कोविद-19 बीमारी के लिए लॉकडाउन के कारण खोए हुए वोर्किंग दिनों के लिए श्रमिकों का भुगतान ईएसआईसी द्वारा उन श्रमिकों के लिए भुगतान किया जाना चाहिए जो ईएसआईसी में पंजीकृत हैं। क्यूंकि यह सभी के लिए चिकित्सा आपातकाल है और ईएसआईसी में 10000 करोड़ रुपये का अधिशेष है जो केवल श्रमिकों और उनके नियोक्ताओंद्वारा योगदान दिया जाता है। इस अधिशेष का बेहतर उपयोग आज की पारिस्थि के अलावा कभी नहीं हो सकता है । ईएसआई में जो एसएमई केअन्य श्रमिक पंजीकृत नहीं है के लिएए सरकार भत्ता ़ राशन प्रदान कर सकती है जैसा कि उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा किया गया है। या कम से कम श्रमिकों को पूर्ण वेतन के बजाय प्रति माह अधिकतम 1000 करोड़ रुपये का भुगतान करने की अनुमति दी जाए और सरकार इन श्रमिकों को मुफ्त में राशन प्रदान कर सकती है।
3- उद्योग को कोविद-19 प्रभावित कर्मचारियों को दी गई सवेतन छुट्टियों के लिए चिकित्सा अवकाशों और अर्जित अवकाशों को समायोजित करने की अनुमति दी जा सकती है।
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केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी और पीयूष गोयल को सुझाव-
- सरकारी विभागोंए सरकारी उपक्रमों और बड़े उद्योगों को एमएसई द्वारा की गई आपूर्ति के लिए भुगतान तुरंत करने के लिए निर्देशित किया जाना चाहिए और किसी भी स्थिति में भुगतान में देरी एमएसएमईडी अधिनियम में निर्धारित 45 दिनों से अधिक के लिए नहीं होनी चाहिए।
- सभी संविदात्मक दायित्वों के लिए Force Majeure Clause का आह्वान और विलंबित वितरण या परियोजनाओं को पूरा करने के लिए राज्य और केंद्र सरकार की एजेंसियों द्वारा कोई दंड नहीं लगाया जाए। उद्यमी और राज्य/ केंद्र सरकार के उपक्रम/विभाग के बीच हस्ताक्षरित किसी भी समझौता ज्ञापन के तहत परियोजनाओं के पूरा होने की अवधि को बcovid-19 के प्रभाव के समाप्त होने से न्यूनतम 3 महीने या आगे बढ़ाया जाना चाहिए।
- लॉकडाउन की अवधि के लिए msme बिजली उपभोक्ताओं से फिक्स्ड चार्ज/डिमांड चार्ज/न्यूनतम शुल्क सेेम छूट देने के लिए देश भर में सभी पावर डिस्कॉम को आदेशित किये जाए।